NEWS : यात्री बसों द्वारा उड़ाई जा रही यातायात नियमों की धज्जियां, हाईकोर्ट के आदेश का नहीं हो रहा पालन, जरा भी डर नहीं, पढ़े आजाद मंसूरी की खबर

यात्री बसों द्वारा उड़ाई जा रही यातायात नियमों की धज्जियां

NEWS : यात्री बसों द्वारा उड़ाई जा रही यातायात नियमों की धज्जियां, हाईकोर्ट के आदेश का नहीं हो रहा पालन, जरा भी डर नहीं, पढ़े आजाद मंसूरी की खबर

नीमच। जिलेभर में यात्री बसों द्वारा यातायात के नियमों की खूब धज्जिया उड़ाई जा रही है। कई नियमों को प्रशासन के सामने रोजाना ताक पर रखा जा रहा है। इतना ही नहीं नियमों की अवहेलना करने वालों को न्यायालय का भी डर नहीं है। परिवहन विभाग द्वारा भी इनकी कोई जांच पड़ताल नहीं की जाती है।

जिलेभर में रोजाना दर्जनों यात्री बसों का लोक परिवहन के लिए संचालन हो रहा है। लेकिन इन बस मालिक और चालकों द्वारा नियमों का तो पालन ही नहीं किया जा रहा है। शहर के प्रायवेट बस स्टैंड पर रोजाना कई बसें विभिन्न रूट पर चल रही है। आमतौर पर जिस रूट पर 52 सीटर बस का संचालन होना है। वंहा अभी भी 32 सीटर बसों का ही संचालन हो रहा है। इसके साथ ही ये बसें भी अस्थाई परमिट (टेम्परेरी परमिट) पर ही संचालित हो रही है। इनके अलावा ड्रायवर बिना ड्रेस (वर्दी) के ही बस चला रहे है। 

वहीं बसों में प्राथमिक उपचार पेटी, निर्धारित किराया सूची, आपातकालीन खिड़की, आवश्यक संपर्क नंबर, बस परिवहन क्षमता, अग्निशामक यंत्र और बस स्पीड सहित कई नियमों का पालन नहीं हो रहा है। इसका मुख्य कारण परिवहन विभाग की उदासीनता है। अभी हाल ही में नीमच से चीताखेड़ा रोड़ पर चलने वाली बसों में भी नियमों का पालन नहीं हो रहा है। ड्राइवर तेज गति से बसें चलाते है। बसों में नियम विरुद्ध छत पर कृषि उपज, उपकरण व अन्य सामान भी रखें जाते है। ऐसे कई यातायात परिवहन नियम है, जो वर्तमान में बस चालकों द्वारा पालन नहीं किए जाते है। प्रशासन को इस ओर ध्यान देना चाहिए ताकि दुर्घटनाएं होने से बच सके।

परिवहन विभाग नहीं करता जांच- 

परिवहन विभाग नीमच द्वारा नियमों की अवहेलना करने वाले इन बस चालकों व मालिकों पर कभी कार्रवाई नहीं की जाती है। इसी कारण इनमें विभागीय डर नहीं है। परिवहन विभाग द्वारा केवल खानापूर्ति के नाम पर सालभर में एक बार ही चेकिंग कर मामले की इतिश्री कर दी जाती है। कार्रवाई नहीं होने के कारण बड़ी दुर्घटनाओं को न्यौता देने के बराबर है।